The Mughal court could take judicial notice of rumours and make investigations or even trick the parties into confessing the truth . मुगल न्यायालय अफवाहों की न्यायिक अवेक्षा करके उनकी छानबीन कर सकते थे या किसी वाद के पक्षों से सत्य की स्वीकृति करवाने के लिए उन्हें भुलावे में डाल सकते थे .